top of page
Product Page: Stores_Product_Widget

किसी देश या प्रदेश का गौरवमय

इतिहास केवल एक व्यक्ति या वर्ग विशेष के प्रयासों का परिणाम नहीं होता है बल्कि उसके निर्माण में ऐसे अनेक प्रभावशाली लोगों का भी हाथ होता है, जिसके विषय में सामान्यतः बहुत कम जानकारी होती है। राजस्थान की गौरवगाथा में शेखावाटी क्षेत्र के ठिकानों का योगदान कितना महत्त्वपूर्ण था, प्रस्तुत पुस्तक इसका सुखद प्रमाण है। डॉ. आर्य ने शेखावाटी क्षेत्र की भौगोलिक पृष्ठभूमि में अपनी विशिष्ट ऐतिहासिक दृष्टि से यह सिद्ध कर दिया है कि आधुनिक सीकर और झुंझुनूं जिलों तक सिमटा शेखावाटी क्षेत्र 18वीं शती के मध्य तक खेतड़ीं, सीकर, बिसाऊ, सूरजगढ़, डूण्डलोद, अमरसर, फतेहपुर, नवलगढ़, मुकन्दगढ़, अलसीसर, उदयपुरवाटी, झुंझुनूं, खण्डेला तथा मनोहरपुर जैसे ठिकानों तक प्रभावी था । इस कृति से यह तथ्य स्वतः प्रमाणित है कि राजस्थान के इतिहास के विकास में शेखावाटी के इन छोटे-छोटे ठिकानों का विशिष्ट स्थान रहा है। स्वतन्त्रता प्राप्ति के पूर्व समय तक इन ठिकानों ने किस प्रकार जयपुर राज्य, मुगलों और बाद में कम्पनी सरकार से अपने सम्बन्धों को बनाए रखा, यह विवरण निश्चय ही राजस्थान के इतिहास का महत्त्वपूर्ण स्रोत है। डॉ. आर्य ने इन ठिकानों से सम्बन्धित प्राचीन पत्रों, शिलालेखों, ताम्रपत्रों और पट्टों का विश्लेषण करके न केवल तत्कालीन सांस्कृतिक और सामाजिक गतिविधि का प्रामाणिक विवरण प्रस्तुत किया है परन्तु पहली बार इन ठिकानों के प्रशासनिक स्वरूप से साक्षात्कार भी कराया है। यह कृति आर्थिक इतिहास के विद्यार्थियों के इस प्रश्न का उत्तर देने में भी समर्थ है। कि राजस्थान की तात्कालीन आर्थिक व्यवस्था में इन ठिकानों की...

शेखावाटी का राजनैतिक एवं सास्कृतिक इतिहास ।Shekhawati Ka Rajnaitik Evm Sanskrtik

SKU: 9788180351358
₹450.00 Regular Price
₹382.50Sale Price
Only 1 left in stock
  • Dr. H.S. Arya

No Reviews YetShare your thoughts. Be the first to leave a review.

RELATED BOOKS 📚 

bottom of page